
उत्तर मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र
प्रयागराज [TV 47 न्यूज नेटवर्क ] उत्तर मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र, प्रयागराज ने एक बार फिर सांस्कृतिक समृद्धि का परिचय देते हुए 12 दिवसीय राष्ट्रीय शिल्प मेला आयोजित किया। संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा प्रस्तुत इस मेले में पहले दिन दर्शकों को भारतीय पारंपरिक नृत्यों से मंत्रमुग्ध कर दिया गया। कलाकारों ने अपनी अद्भुत प्रस्तुतियों से दर्शकों का दिल जीत लिया और इस आयोजन की यादें शहरवासियों के मन में लंबे समय तक बनी रहेंगी।
लोकनृत्यों की विविधता से सजा मुक्ताकाशी मंच
कार्यक्रम का आरंभ रविवार को हुआ और मुक्ताकाशी मंच पर प्रस्तुत किए गए नृत्य ने पूरी शैलियों की विविधता को दर्शाया। सबसे पहले, ओडिसा से आए पवित्र महापात्रा एवं उनके दल ने शंखवादन और चडैया नृत्य प्रस्तुत किया। इसके बाद असम के नितुल चोटिया और उनकी टीम ने बिहू नृत्य से दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया। इन प्रस्तुतियों ने दर्शकों को भारतीय संस्कृति की खूबसूरती से परिचित कराया।

भक्ति गीतों से भर गया माहौल
इस अवसर पर भजन गायक भूपेंद्र शुक्ला ने अपनी आवाज से भक्ति का रंग बिखेरते हुए ‘जय गणपति वंदना’, ‘राम का नाम होठों पर आता रहे’ और ‘साईं राम, कृष्ण रहमान, साईं गीता’ जैसे भजन गाए। उनकी प्रस्तुतियों से पंडाल भक्तिमय हो गया और दर्शकों ने बड़े श्रद्धा भाव से उनकी आवाज का आनंद लिया।
झारखंड और अन्य राज्यों की अनोखी प्रस्तुतियां
दूसरी ओर, झारखंड से आए सुबोध परमाणिक एवं उनके दल ने ढोल, नगाड़ा और शहनाई की धुन पर पाईका और छाऊ नृत्य प्रस्तुत किया। इस प्रदर्शन में दर्शकों को झूमने और तालियां बजाने के लिए मजबूर कर दिया। इसके अलावा, नदीम राईन और उनकी टीम ने बधाई व नौराता नृत्य पेश कर दर्शकों से खूब तालियां बटोरीं।

शोभा यात्रा ने बढ़ाया उत्साह
शिल्प मेले के उद्घाटन से पहले शोभा यात्रा का आयोजन किया गया। इसमें विभिन्न राज्यों से आए कलाकारों ने अपनी कला और संस्कृति का प्रदर्शन किया। कलाकारों ने आकर्षक परिधानों, मुद्राओं और नृत्य से शहरवासियों का ध्यान खींचा। इस शोभा यात्रा में लोग सेल्फी लेने और कलाकारों के साथ आनंदित हो रहे थे। यह यात्रा केंद्र परिसर से शुरू होकर एजी ऑफिस होते हुए सुभाष चौराहे पहुंची। यहां सिविल लाइंस उद्योग व्यापार मंडल के अध्यक्ष नीरज जायसवाल, प्रख्यात गायिका एवं महामंत्री स्वाति निरखी, क्षेत्रीय पार्षद पंकज जयसवाल और अन्य व्यापारी वर्ग ने कलाकारों का भव्य स्वागत किया।
उत्तर मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र द्वारा प्रस्तुत इस राष्ट्रीय शिल्प मेले ने एक बार फिर यह साबित कर दिया कि भारतीय संस्कृति और परंपरा कितनी समृद्ध और विविध है। कार्यक्रम का संचालन डॉ. आभा मधुर ने किया और पूरा कार्यक्रम कलाकारों की शानदार प्रस्तुतियों और दर्शकों की भागीदारी से सफल रहा।