
फाइल फोटो।
ग्रेटर नोएडा [ TV 47 न्यूज नेटवर्क ]। ग्रेटर नोएडा वेस्ट के व्यस्ततम स्थानों में से एक किसान चौक पर जल्द ही अंडरपास का निर्माण किया जाएगा। यह अंडरपास यातायात की समस्या को हल करने और शहर के तेजी से बढ़ते ट्रैफिक को नियंत्रित करने के लिए एक बड़ी परियोजना का हिस्सा है। इस निर्माण के लिए 800 पेड़ों को शिफ्ट किया जाएगा, जिससे पर्यावरण पर भी ध्यान रखा जा सकेगा। परियोजना की लागत करोड़ों रुपये में आंकी गई है और यह क्षेत्र के विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
1- अंडरपास निर्माण की जरूरत
ग्रेटर नोएडा वेस्ट के किसान चौक पर रोजाना लाखों वाहन गुजरते हैं, जिससे यातायात जाम की समस्या आम बात हो गई है। इस अंडरपास के बनने से ट्रैफिक की आवाजाही सुगम हो जाएगी और यातायात का दबाव कम होगा। यह क्षेत्र के निवासियों और व्यवसायियों के लिए एक बड़ी राहत होगी, क्योंकि इस समय पीक आवर्स में जाम लगना सामान्य बात हो चुकी है।
2- 800 पेड़ों का होगा शिफ्ट
पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए, अंडरपास निर्माण के दौरान 800 पेड़ों को हटाने के बजाय उन्हें शिफ्ट करने का निर्णय लिया गया है। यह कदम पर्यावरण संरक्षण की दिशा में उठाया गया एक महत्वपूर्ण प्रयास है। शिफ्टिंग के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा ताकि पेड़ों को कम से कम नुकसान पहुंचे और वे नए स्थान पर भी अच्छे से बढ़ सकें।
3- परियोजना की लागत
इस अंडरपास परियोजना पर अनुमानित लागत 80 करोड़ रुपये आने की संभावना है। यह निवेश ग्रेटर नोएडा वेस्ट के इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। अंडरपास के साथ-साथ, सड़क चौड़ीकरण और अन्य सुधार कार्य भी इस परियोजना के हिस्से होंगे, जिससे शहर का बुनियादी ढांचा और भी बेहतर होगा।
4- यातायात प्रबंधन में सुधार
इस अंडरपास के बनने से यातायात प्रबंधन में काफी सुधार देखने को मिलेगा। किसान चौक पर अंडरपास के कारण वाहन चालकों को ट्रैफिक सिग्नल पर रुकने की जरूरत नहीं पड़ेगी, जिससे उनका समय भी बचेगा और फ्यूल की बचत भी होगी। इसके साथ ही, दुर्घटनाओं में कमी आने की भी उम्मीद है, जो कि इस क्षेत्र में अक्सर देखने को मिलती हैं।
5- स्थानीय व्यापार को मिलेगा बढ़ावा
अंडरपास निर्माण से न केवल यातायात में सुधार होगा, बल्कि यह स्थानीय व्यापार को भी बढ़ावा देगा। बेहतर कनेक्टिविटी के कारण व्यापारियों और ग्राहकों के लिए आवागमन सरल हो जाएगा, जिससे व्यापार में तेजी आएगी। क्षेत्र के विकास से रियल एस्टेट सेक्टर को भी लाभ होगा, जिससे निवेशकों की रुचि बढ़ेगी।