
प्रयागराज में संतों के साथ बैठक् करते सीएम योगी व मंत्रिमंडल के सदस्य।
1- सीएम योगी ने संतों से आह्वान करते हुए कहा कि गुलामी के प्रतीक व नाम सनातन परंपरा से हटने चाहिए। महाकुंभ 2025 को दिव्य-भव्य बनाने के लिए आप सभी का सहयोग अपेक्षित है। देश-दुनिया के कोने-कोने से आने वाले श्रद्धालु और संत आपके अतिथि होंगे। ऐसे में हमारे आचरण भी उसी अनुरूप हों।
2- हम किसी तरह की निगेटिव बात न करें, जिससे कोई आहत हो। यह आपका आयोजन है और हर तरह से प्रशासन आपके पीछे खड़ा है। सीएम योगी ने ये बातें रविवार को 13 अखाड़ों के संतों के अलावा दंडी स्वामी, आचार्यबाड़ा और खाकचौक के महात्माओं को संबोधित करते हुए कहीं।
3- संतों को आश्वस्त कराते हुए बताया कि 30 दिसंबर तक महाकुंभ का कार्य पूरा हो जाएगा। 2019 से इस बार अधिक श्रद्धालु आएंगे, इसके लिए इस बार महाकुंभ का डेढ़ गुना दायरा बढ़ा दिया है। स्वच्छ, सुरक्षित एवं सुवव्यस्थित महाकुंभ 2025 के लिए हम कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे।
4- ऐसे में आप सभी से यह अपील है कि नकारात्मक बातों के साथ ही मेला क्षेत्र में प्लास्टिक का प्रयोग नहीं करेंगे और लोगों को भी इसके पालन के लिए कहेंगे। उन्होंने संतों द्वारा सुरक्षा की बात को गंभीरता से लेते हुए कहा कि मेला क्षेत्र में आने वाले प्रत्येक व्यक्ति का वेरीफिकेशन होगा।
5- इसमें अभी से इस तरह के सारे प्रयास शुरू कर दिए गए हैं, सभी श्रद्धालुओं और संतों की सुरक्षा हमारे लिए बड़ी चुनौती है। हमें हर कीमत पर कुंभ की भव्यता और दिव्यता का ख्याल रखना है। योगी ने संतों के सामने घोषणा की कि प्रयागराज के शास्त्रीय सीमा में मांस-मदिरा पर पूर्णतया प्रतिबंध रहेगा।
6- संतों से अपने अखाड़ों में गोशाला तैयार करने के लिए कहा, यह भी वादा किया कि उसके लिए प्रदेश सरकार धन उपलब्ध कराएगी। इन बातों के साथ ही सीएम कुंभ कार्यों के निरीक्षण के लिए निकल पड़े। उनके साथ डिप्टी सीएम केशव प्रसाद व जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह मौजूद थे।
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