
Mahant Narendra Giri File Photo
प्रयागराज [ TV 47 न्यूज़ नेटवर्क ] । अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद अध्यक्ष रहे महंत नरेंद्र गिरि के आत्महत्या मामले की सुनवाई गुरुवार को जिला न्यायालय में हुई। विचाराधीन मुकदमे की सुनवाई अपर सत्र न्यायाधीश अंजू कनौजिया ने की।
आरोपित आनंद गिरि के अधिवक्ताओं की ओर से सीबीआइ द्वारा एकत्रित साक्ष्य आडियो और वीडियो टेप की कापी लेने की अर्जी दी गई। सीबीआइ की ओर से विवेचना करने वाले टीम के सदस्य और विशेष अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के यहां से सत्र न्यायालय में सुपुर्दगी के समय बचाव पक्ष के अधिवक्ताओं को कापी दे दी गई थी।
जानबूझकर मुकदमा को लंबित करने के लिए अर्जी दी गई है। दोनों पक्षों का तर्क सुनने के बाद कोर्ट ने आनंद गिरि की अर्जी को खारिज कर दी। बता दें कि 20 सितंबर 2021 को महंत नरेंद्र गिरि का शरीर मठ के कमरे में रस्सी के फंदे से लटकी मिली थी। वहां मिले कई पेज के सुसाइड नोट के आधार पर आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप पुराने शिष्य आनंद गिरि, बड़े हनुमान मंदिर के मुख्य पुजारी आद्या प्रसाद तिवारी और बेटे संदीप तिवारी पर लगा था। तीनों को गिरफ्तार कर लिया गया। साथ ही शासन ने इस प्रकरण की जांच सीबीआइ को सौंप दी थी।
बता दें कि 20 सितंबर 2021 को महंत नरेंद्र गिरि का शरीर मठ के कमरे में रस्सी के फंदे से लटकी मिली थी। वहां मिले कई पेज के सुसाइड नोट के आधार पर आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप पुराने शिष्य आनंद गिरि, बड़े हनुमान मंदिर के मुख्य पुजारी आद्या प्रसाद तिवारी और बेटे संदीप तिवारी पर लगा था। तीनों को गिरफ्तार कर लिया गया। साथ ही शासन ने इस प्रकरण की जांच सीबीआइ को सौंप दी थी।